चुनावी जंग में कई सीटें ऐसी,जहां सियासी लड़ाई है परिवार के सदस्यों के बीच !
भाई-बहन,ननद-भाभी,ससुर-बहू और पूर्व पति-पत्नी तक एक दूसरे के विरुद्ध मैदान में हैं !
देश में इस वक्त चुनाव की सरगर्मी है। देशभर में 19 अप्रैल से लेकर 1 जून तक सात चरणों में लोकसभा के चुनाव होने हैं। पहले और दूसरे चरण के नामांकन की प्रक्रिया समाप्त हो गई है। पहले चरण में 21 राज्यों की 102 सीटों के लिए 19 अप्रैल को मतदान होगा। वहीं दूसरे चरण में 13 राज्यों की 89 सीटों के लिए 26 अप्रैल को लोग वोट करेंगे।
दो चरणों की नामांकन की प्रक्रिया पूरी होने के साथ 191 सीटों के मुकाबलों की तस्वीर साफ हो चुकी है। कई सीटों पर चेहरों ने सियासी लड़ाई को दिलचस्प बना दिया है। कई जगह पर परिवार के सदस्य ही आमने-सामने हैं। आइये जानते हैं ऐसी कितनी सीटें हैं जहां परिवार के सदस्यों के बीच लड़ाई है? ये उम्मीदवार किन दलों से हैं? इन सीटों पर पिछली बार किसे जीत मिली थी?
भाभी-ननद हुईं आमने-सामने
महाराष्ट्र की बारामती सीट पर रिश्ते में ननद भौजाई का राजनीतिक मुकाबला दिलचस्प हो चुका है। यहां राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी-अजित पवार खेमा) ने सुनेत्रा पवार को लोकसभा चुनाव 2024 के लिए उम्मीदवार बनाया है। सुनेत्रा महाराष्ट्र के उप-मुख्यमंत्री अजित पवार की पत्नी हैं। वहीं सुनेत्रा के खिलाफ उनकी ननद सुप्रिया सुले चुनाव मैदान में हैं। सुप्रिया शरद पवार की बेटी हैं। बारामती लोकसभा क्षेत्र की मौजूदा सांसद एनसीपी (शरद चंद्र पवार) की सुप्रिया सुले हैं। 2019 में सुप्रिया ने भाजपा के कंचन राहुल कूल को हराया था।
पूर्व पति-पत्नी एक दूसरे के खिलाफ उतरे
पश्चिम बंगाल की बिष्णुपुर सीट पर पूर्व पति-पत्नी के बीच सियासी मुकाबला है। बिष्णुपुर में वर्तमान भाजपा सांसद सौमित्र खान फिर से मैदान में हैं। तृणमूल कांग्रेस ने यहीं पर उनकी पूर्व पत्नी सुजाता मंडल को टिकट देकर मुकाबले को रोचक बना दिया है। पिछले लोकसभा चुनाव में सौमित्र खान ने तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवार श्यामल संत्रा को शिकस्त दी थी।
चौटाला परिवार के सदस्य चुनाव मैदान में
हरियाणा की हिसार सीट पर मुकाबला चौटाला परिवार के बीच होने की उम्मीद है। भाजपा ने यहां ओपी चौटाला के बेटे रणजीत चौटाला को मैदान में उतारा है। रणजीत निर्दलीय विधायक और हरियाणा सरकार में कैबिनेट मंत्री रह चुके हैं। भाजपा में शामिल होने के बाद उन्हें हिसार सीट से मैदान में उतार दिया गया है।
वहीं इंडियन नेशनल लोकदल (इनेलो) ने सुनैना चौटाला को मैदान में उतारा है। सुनैना इनेलो की महिला विंग की प्रधान महासचिव हैं। रणजीत चौटाला सुनैना चौटाला के रिश्ते में चाचा सुसर हैं।
जेजेपी यानी जननायक जनता पार्टी भी हिसार सीट से ओम प्रकाश चौटाला की एक और बहू नैना चौटाला को मैदान में उतारने की तैयारी में है। पूर्व उप-मुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला की मां नैना बाढड़ा चौटाला सीट से विधायक हैं।
2019 में भी इस सीट से चौटाला परिवार के दुष्यंत चौटाला जजपा के टिकट पर चुनाव मैदान में थे। हालांकि, इस चुनाव में जीत भाजपा के उम्मीदवार बृजेंद्र सिंह को मिली थी। बृजेंद्र हाल ही में भाजपा छोड़कर कांग्रेस में शामिल हो गए और पार्टी के उम्मीदवार भी हैं।
भाई-बहन की सियासी टक्कर
आंध्र प्रदेश की कडप्पा लोकसभा सीट पर भी परिवार वालों के बीच भिड़ंत होनी है। कांग्रेस ने वाईएस शर्मिला को अपने पारिवारिक गढ़ कडप्पा सीट से उम्मीदवार बनाया है। शर्मिला आंध्र प्रदेश कांग्रेस इकाई की प्रमुख हैं। वह कांग्रेस के पूर्व मुख्यमंत्री वाईएस राजशेखर रेड्डी की बेटी और वाईएसआर कांग्रेस पार्टी प्रमुख वाईएस जगन मोहन रेड्डी की बहन हैं। इस चुनाव में शर्मिला अपने चचेरे भाई वाईएस अविनाश रेड्डी से मुकाबला करेंगी। अविनाश रेड्डी को वाईएसआर कांग्रेस ने मैदान में उतारा है।
2019 से इस सीट पर अविनाश रेड्डी को जीत मिली थी। वाईएसआर की तरफ से उतरे अविनाश ने टीडीपी के आदि नारायणा रेड्डी को शिकस्त दी थी।
0 Comments