G.News 24 : हाई कोर्ट ने नियुक्तियों पर राज्य सरकार से एक हफ्ते में जवाब मांगा है

परिवहन विभाग में टेक्निकल पदों पर नॉन टेक्निकल की नियुक्ति को लेकर...

हाई कोर्ट ने नियुक्तियों पर राज्य सरकार से एक हफ्ते में जवाब मांगा है

जबलपुर l मध्य प्रदेश हाई कोर्ट ने परिवहन विभाग में तकनीकी पदों पर नॉन टेक्निकल योग्यता वाले व्यक्तियों की नियुक्तियों पर राज्य सरकार से एक हफ्ते में जवाब मांगा है। दरअसल, परिवहन विभाग में इंस्पेक्टर और सब इंस्पेक्टर पद पर गैर तकनीकी योग्यता वाले व्यक्तियों की नियुक्तियों के खिलाफ कोर्ट में याचिका दायर की गई थी। हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रवि विजय कुमार मलिमथ और जस्टिस विशाल मिश्रा की युगलपीठ को बताया गया कि सामान्य प्रशासन विभाग ने संशोधन नियम में संशोधन कर प्रस्ताव विधि विभाग को भेजा था।

विधि विभाग ने प्रस्ताव के संबंध में सामान्य प्रशासन विभाग से स्पष्टीकरण मांगा है। हाई कोर्ट की युगलपीठ ने सरकार को एक सप्ताह में जवाब पेश करने के निर्देश दिए हैं।कोर्ट में याचिका अधारताल निवासी ज्ञान प्रकाश की ओर से दायर की गई थी। उसमें कहा गया था कि परिवहन विभाग में निरीक्षक और उप निरीक्षक की नियुक्ति के लिए शैक्षणिक योग्यता ऑटोमोबाइल इंजीनियरिंग या मैकेनिकल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा और एक वर्ष का कार्य अनुभव आवश्यक है। ये दोनों पद तकनीकी श्रेणी में आते हैं। मध्य प्रदेश सरकार ने 2014 को नियमों को संशोधित कर निरीक्षक और उप निरीक्षक पद के लिए शैक्षिक योग्यता स्नातक लागू कर दी है। याचिका में कहा गया था कि पूर्व में नियम के अनुसार दुर्घटना होने पर परिवहन विभाग के अधिकारियों की ओर से निरीक्षण करने की मांग वाली याचिका दायर की गई थी। 

इसकी सुनवाई के दौरान बताया गया था कि निरीक्षण के लिए अधिकारियों को नियुक्त कर दिया गया है। इसके अलावा वाहन के फिटनेट टेस्ट सर्टिफिकेट परिवहन विभाग द्वारा जारी किए जाते हैं। निरीक्षण और फिटनेट टेस्ट तकनीकी कार्य हैं, जिसे परिवहन निरीक्षक तथा उप निरीक्षक करते हैं। गैर तकनीकी व्यक्ति ऐसा कार्य नहीं कर सकते हैं। सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता ने युगलपीठ को बताया कि वर्ष 2021 में मध्य प्रदेश में हुई सड़क दुर्घटनाओं में 12,057 व्यक्तियों की मौत हुई थी। सरकार की तरफ से उक्त जानकारी पेश की गई। सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता ने अपना पक्ष खुद रखा।

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