अच्छा कार्य करने वाले पुलिस के अधिकारी व कर्मचारियों का किया सम्मान

 ‘‘महिला हिंसा उन्मूलन’’ के क्षेत्र में...

अच्छा कार्य करने वाले पुलिस के अधिकारी व कर्मचारियों का किया सम्मान

ग्वालियर l पुलिस मुख्यालय भोपाल द्वारा 25.11.2022 से 23.12.2022 तक National Gender Campaign आयोजित करने हेतु निर्देश दिए गए है। उक्त निर्देशों के परिपालन में आज बाल भवन ग्वालियर स्थित सभागार में ‘‘महिला हिंसा उन्मूलन’’ जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किया गया। उक्त कार्यक्रम में बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओं की ब्रांड एंबेसडर मेधा परमार, अति. पुलिस महानिदेशक/पुलिस महानिरीक्षक ग्वालियर जोन डी.श्रीनिवास वर्मा, सुरेश सिंह तोमर, संयुक्त निदेशक महिला बाल विकास विभाग भोपाल, पुलिस अधीक्षक ग्वालियर अमित सांघी, एवं महिला सेल की नोडल अधिकारी/अति. पुलिस अधीक्षक शहर (मध्य/यातायात) ग्वालियर श्रीमती मृगाखी डेका सहित पुलिस के अधिकारी व कर्मचारीगण व स्कूल/कॉलेज की छात्राएं उपस्थित रही। 


कार्यक्रम में ग्वालियर पुलिस के जिन अधिकारियों द्वारा जिले में महिला संबंधी उत्कृष्ट विवेचना, महिला संबंधी अपराधों में त्वरित कार्यवाही, महिला हिंसा उन्मूलन, महिला अपराधों की रोकथाम हेतु जागरूकता अभियान के क्षेत्र में सराहनीय कार्य किया गया। उन्हें अतिथि मेघा परमार द्वारा उक्त क्षेत्र में किये गये सराहनीय कार्य के लिये  सम्मानित किया गया। इनमे सीएसपी महाराजपुरा रवि भदौरिया, सीएसपी इन्दरगंज विजय भदौरिया, निरीक्षक संजीव नयन शर्मा, निरीक्षक राजकुमारी परमार, उप निरीक्षक दिव्या तिवारी, उप निरीक्षक अंकिता भार्गव, प्र.आर. पुष्पा मुखर्जी, महिला आरक्षक पूनम तोमर को सम्मानित किया गया।


इस अवसर पर मंच संचालन आरआई ग्वालियर रणजीत सिंह द्वारा किया गया। उन्होने उपस्थित अतिथि मेधा परमार के संबंध में बताया कि वह माउंट एवरेस्ट पर चढ़ने वाली म0प्र0 की प्रथम महिला पर्वतारोही हैं तथा बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओं की ब्रांड एंबेसडर भी हैं। इस अवसर मेघा परमार ने कहा कि महिला का पहला कदम ही सुरक्षा है, यदि कोई व्यक्ति आपसे बात करता है तो उसे एक मर्यादा तक ही सीमित रखना चाहिए। महिलाओं को कभी कोई ऐसा कार्य नहीं करना चाहिए जिसके संबंध में वह अपने परिजनों को न बता सके। इस अवसर पर एडीजीपी ग्वालियर जोन ने कहा कि सफल इंसान से हमें प्रेरणा लेना चाहिए तथा आप जो भी कार्य दिल व जुनून से करेंगे उसमें आप अवश्य ही सफल होंगे। उन्होने कहा कि महिलाओं की सुरक्षा के लिए अनेक कानून बनाये गये हैं लेकिन महिला हिंसा उन्मूलन के लिये सभी वर्गों को एक साथ आकर साझा प्रयास करने की आवश्यकता है। कार्यक्रम में उपस्थित पुलिस अधिकारी व कर्मचारियों व छात्राओं को संबोधित करते हुए  सुरेश सिंह तोमर, संयुक्त निदेशक महिला बाल विकास विभाग भोपाल ने कहा कि ग्वालियर जिले में 1000 लड़कों पर 828 लड़कियां है जो कि लेंगिंग भेदभाव में बहुत ज्यादा अंतर है। उन्होने कहा कि जहां महिलाओं की संख्या कम होती है वह महिलाओं पर हिंसा ज्यादा होती है इसलिए महिला हिंसा उन्मूलन के लिये महिलाओं को आगे आना चाहिए।

पुलिस अधीक्षक ग्वालियर ने कहा कि पुलिस विभाग में महिला आरक्षक से लेकर महिला आईपीएस ऑफीसर तक सभी पुरूषों की तरह बराबर ड्यूटी करती हैं, हमारे यहां की महिला पुलिस ऑफीसर किसी से कम नहीं है जो कि एक प्रेरणा स्रोत है। इस अवसर पर उन्होने कहा कि स्कूल/कॉलेज जाने वाली छात्राओं को यदि रास्ते में कोई लड़का छेड़ता है या कमेंट करता है तो उसे इग्नोर नही करना चाहिए, बल्कि अपने माता-पिता और टीचर को बताना चाहिए, इग्नोर करने से वह किसी बड़ी घटना को अंजाम दे सकता है इसलिए महिलाओं को महिला हिंसा एवं ईव टीजिंग के विरूद्ध आवाज उठाने के लिये आगे आना चाहिए। कार्यक्रम में अति. पुलिस अधीक्षक श्रीमती मृगाखी डेका,अति. पुलिस अधीक्षक  मोती उर रहमान,अति. पुलिस अधीक्षक शहर (पूर्व/अपराध) राजेश डण्डोतिया, अति. पुलिस अधीक्षक शहर (पश्चिम) गजेन्द्र सिंह वर्धमान, अति. पुलिस अधीक्षक ग्रामीण जयराज कुबेर के अलावा समस्त राजपत्रित अधिकारी एवं पुलिस के अधिकारी व कर्मचारी एवं स्कूली छात्राएं उपस्थित थे।

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